10 ग्रह जहां जाने से पहले आपकी रूह काँप जायेगी
अनंत अंतरिक्ष की गहराइयों को जानने की उत्सुकता हर किसी की रहती है. इसके रहस्यों की कई कहानियां आपने पढ़ी और सुनी होंगी. हमारी पृथ्वी से बाहर क्या क्या हो रहा है, जब हमें पता लगता है तो उसे जानने के बारे हमारा मन बेचैन हो उठता है. पृथ्वी के बाहर जीवन है या नहीं, या पृथ्वी जैसे दूसरे ग्रह तक जाने में कितना समय लगेगा. हमारी पृथ्वी का एक साल दूसरे ग्रह के कितने दिन के बराबर होता है… आदि. जब समाचारों में पढ़ते हैं की अमुक ग्रह पृथ्वी से 10 या 20 प्रकाश वर्ष की दूरी पर है जहां पानी हो सकता है, तो सोचने पर मजबूर होना पड़ता है की अगर उस ग्रह पर पानी होगा भी तो कितने साल लगेंगे वहाँ तक पहुंचने में.
अगर हम अपने सौर मंडल (Solar System) की बात करें तो 9 ग्रहों (Planets) के साथ 200 से भी ज्यादा चन्द्रमा और छुद्र ग्रह (Asteroids) हैं. पृथ्वी को छोड़कर अगर किसी और ग्रह की बात करें तो सब पथरीले और खतरनाक ग्रह (Dangerous Planets) हैं जहां पर रहने की बात तो दूर वहाँ जाने के नाम से ही रूह काँप जायेगी.
चलिए छोड़िये, अंतरिक्ष तो अनंत है, इसके बारे में जितनी बात की जाए वो कम है.
आइये बात करते हैं 10 ग्रहों के बारे में और वहां के वातावरण के बारे में. सोचिये अगर हम इन ग्रहों पर पहुँच भी जाएँ तो हमारी क्या दशा होगी..
- Venus
वीनस को पृथ्वी का जुड़वाँ कहा गया है लेकिन असलियत में यह पृथ्वी जैसा नहीं है. वीनस का वायुमंडल ग्रीनहाऊस गैसों (Greenhouse gas) से भरा है. इन गैसों की वजह से यह ग्रह नरक के सामान है. पृथ्वी का वायुमंडल सूरज की गर्मी को फैलाता है जबकि वीनस में यह बात उलटी हो जाती है. ग्रीनहाऊस गैसों की वजह से यह बहुत ही गर्म हो जाता है. रूस का अंतरिक्ष यान (Satellite) वीनस के वायुमंडल में नहीं झाँक पाया क्यूंकि सूर्य की रौशनी वहां के वायुमंडल में परावर्तित हो जाती है. लेकिन जब वह यान सतह पर पहुंचा तो केवल 127 मिनट तक ही सिग्नल भेज पाया और गर्मी में पिघल गया. एक ख़ास बात और, वीनस का दिन उसके एक साल से भी ज्यादा लम्बा होता है. यह अपनी धुरी पर 243 पृथ्वी के दिन में एक चक्कर लगता है जबकि सूर्य की परिक्रमा करने में इसे 225 पृथ्वी के दिन लगते हैं.
यहां पर अगर जीवन की बात करें तो आप यहां की जहरीली हवा में न तो सांस ले पाएंगे और अपने खुद के वजन के दबाव में पीस जाएंगे, फिर भी अगर आप बच गए तो इतने तापमान में आप हवा बन जाएंगे या फिर तेज़ाब की बारिश में घुल जाएंगे. या यूँ कहें की वहाँ पर पिज़्ज़ा बनने में 7 सेकंड लगेंगे लेकिन आप 7 सेकंड तक पिज़्ज़ा खाने लायक नहीं होंगे.
- CoRoT-7b
दिन के समय इस ग्रह का तापमान पत्थरों को पिघलकर भाप में बदल देता है.वैज्ञानिकों के अनुसार इस ग्रह पर कोई गैस (भाप, कार्बन डाइऑक्साइड या नाइट्रोजन) नहीं है बल्कि पत्थरों की भाप है. यहां पर बारिश के रूप में पत्थरों की वर्षा होती है जो लावा जैसे गर्म सतह पर गिरती है. अब आप अनुमान लगा सकते हैं की इस ग्रह पर जीवन कैसा होगा.
- Pluto
अब प्लूटो को ग्रह की श्रेणी से निकल दिया गया है. यहां का मौसम ठंडा है का मतलब यह नहीं है की सिर्फ बर्फीला है. यहां के मौसम इतना ठंडा है की सभी गैसें जम कर बर्फ बन गयी हैं और यह मौसम यहां के साल भर (पृथ्वी के 248 साल) रहता है. यहां का खुले हुए आसमान से सिर्फ उतनी ही गर्मी मिलती है जितनी की पृथ्वी पर चन्द्रमा से. यहां के -228 डिग्री से -238 डिग्री सेंटीग्रेड के तापमान में आप तुरंत जम जाएंगे.
- Jupiter
जुपिटर ग्रह पर पृथ्वी के आकर से भी बड़े बड़े तूफ़ान आते हैं और 400 मील प्रति घंटे की रफ़्तार से हवाएं चलती हैं, जिसकी वजह से जो बिजली चमकती है वो पृथ्वी पर चमकाने वाली बिजली से 100 गुना ज्यादा ऊर्जायुक्त होती है. यहाँ के महासागर द्रव धातुई हाइड्रोजन से बने हैं जो 25000 मील गहरे हैं. पृथ्वी पर जहाँ हाइड्रोजन गैस रंगहीन और पारदर्शी है वहीँ जुपिटर पर बाहरी वातावरण में तो हाइड्रोजन पृथ्वी की तरह ही है लेकिन जैसे आप नीचे जाते है तो ग्रह के भयंकर दबाव की वजह से हाइड्रोजन द्रव धातु के रूप में परिवर्तित हो जाती है जो बिजली और गर्मी की सुचालक होती है. धातु होने की वजह से यह रौशनी को शीशे की तरह परावर्तित करती है. अगर आप इस ग्रह पर जाते हैं तो आप अपने शरीर के दाब से ही पीस जाएंगे या फिर बिजली गिरने से आप की मौत हो सकती है.
- WASP-12b
यह ग्रह अब तक खोजै गया सबसे गर्म ग्रह (Hottest Planets Till Now) है. इसका तापमान लगभग 2200 डिग्री सेल्सियस है और यह ग्रह अपने सूर्य की परिक्रमा सबसे नजदीक से करता है. इस वजह से इसकी सतह का ताप हमारे सूर्य के तापमान से सिर्फ आधा है या लावा के तापमान से दोगुना है. यह अपने सूर्य से सिर्फ 3400000 किलोमीटर दूर है और पृथ्वी के एक दिन में ही पूरी परिक्रमा लगा लेता है. अब यहां जाने की तो सोचना ही मत.
- Mars
मार्स (मंगल) ग्रह पर धुल भरे तूफ़ान कभी भी बन सकते हैं और कुछ ही दिनों में पूरे ग्रह को धुल भरी आँधियों से ढक लेते हैं. यहां उठने वाले तूफान हमारे सौर मंडल के सबसे बड़े और खतरनाक तूफानों में से हैं. यहां उठने वाले तूफान पृथ्वी के माउन्ट एवेरेस्ट जितने ऊंचे और रफ़्तार 300 किमी प्रति घंटे तक होती है. अब आप समझ सकते हैं की यहां पर जीवन कितना कठिन हो सकता है.
- COROT exo-3b
अब तक खोजे जाने वाले ग्रहों में इस ग्रह का घनत्व सबसे ज्यादा है, और यह एक दूसरे तारे की परिक्रमा करता है. यह आकार में तो जुपिटर (बृहस्पति) जितना ही बड़ा है लेकिन इसका द्रव्यमान जुपिटर का 20 गुना है. इसका घनत्व पारे के घनत्व का दोगुना है. इसके घनत्व से आप अंदाजा लगा सकते हैं की इस ग्रह पर घूमना कितना कठिन है क्यूंकि यहाँ पर हमारा वजन पृथ्वी के मुकाबले 50 गुना ज्यादा होगा. मतलब हम अपने शरीर के वजन से दबकर चूर – चूर हो जाएंगे या यु मान लीजिये की आपके सीने पर एक हाथी जितना वजन हो जाएगा.
- 51 Pegasi b
इसे बेलेरोफोन नाम से पुकारते हैं. यह गैस का गुब्बारा ज्यादातर हाइड्रोजन और हीलियम से बना है और आकार में पृथ्वी का 150 गुना है.समस्या यह है की यह अपने तारे के ताप से तप रहा है और इसका तापमान लगभग 1000 डिग्री सेल्सियस है. यह हमारी पृथ्वी के मुकाबले अपने सूरज से 100 गुना ज्यादा नजदीक है. इसके वातावरण के तापमान के अंतर के कारण यहां पर 1000 किमी प्रति घंटे की रफ़्तार से हवाएं चलती हैं और इतनी गर्मी की वजह से यहां पानी की भाप भी नहीं है. लेकि यहां बारिश भी होती है वो भी गर्म लोहे की. जैसे पृथ्वी पर पानी भाप बनकर बादल बनाते हैं और बारिश करते हैं वैसे ही यहां पर लोहा भी भाप बनकर बादल बनाते हैं और पिघले लोहे की बारिश करते हैं. अब अगर यहां जाना हो तो एक अच्छा सा छाता लेकर जरूर जाएँ.
- Neptune
नेप्चून ग्रह पर हर समय आंधी और तूफ़ान आते रहते हैं. पृत्वी जितने बड़े चक्रवात 1500 मील प्रति घंटे की रफ़्तार से घूमते हैं. आपको ज्ञात हो की यह स्पीड साउंड बैरियर को तोड़ने की स्पीड से भी दोगुनी है. अब आप इतनी तेज हवाओं में भी खड़े हो सके तो अनोखी बात होगी. और अगर खड़े नहीं रह सके तो इन आँधियों में आप पूरे ग्रह पर भटकते रहेंगे.
लेकिन आश्चर्य की बात यह है की इतने तेज तूफ़ान और चक्रवात उत्पन्न करने के लिए ऊर्जा कहाँ से आती है. जबकि यह ग्रह सूर्य से बहुत ही अधिक दूरी पर है और आतंरिक गर्मी भी बहुत ही कम है.
- Carbon Planet
आपको तो पता ही होगा की अपनी पृथ्वी पर ऑक्सीजन की अधिकता और कार्बन का अनुपात बना हुआ है जो जीवन का जरूरी आधार है. जबकि हमारी आकाशगंगा के केंद्र में कार्बन की बहुतायत है जिससे ग्रह बनने की प्रक्रिया पृथ्वी बनने के अनुरूप नहीं है. इन कार्बन ग्रहों पर सुबह का आकाश एकदम साफ़ और नीला होता है. जबकि धरातल पर कच्चे तेल और तारकोल के समुद्र दिखाई देंगे. जबकि बारिश के रूप में आसमान से पेट्रोल और डीज़ल जैसी बरसात होती है. चलो एक अच्छी बात ये है की कार्बन से बने होने की वजह से यहाँ हीरों की भरमार है. अब अगर तारकोल और पेट्रोल में नहाने की इच्छा हो तो यहां जरूर जाइये.
नोट: यहां दी गयी इमेज और जानकारी पठनीय बनाने हेतु वैज्ञानिक दृष्टिकोण से थोड़ी भिन्न हो सकती है. सटीक जानकारी के लिए आप https://en.wikipedia.org की सहायता ले सकते हैं.
Img Source: http://listverse.com/2013/05/14/10-terrifying-planets-you-dont-want-to-visit/
Featured img: http://hdwallpaperfx.com